डायन बोल कर गरम रॉड से पीटा क्लिक करे और जाने।
(धनबाद) : कालूबथान ओपी क्षेत्र के गुलियारडीह गांव के नर¨सहडीह आदिवासी टोला में ओझागुनी और अंधविश्वास के चक्कर में गांव की ही 25 वर्षीय बहू को डायन बताकर पांच दिनों से बंधक बनाकर मारपीट की गई। डायन की बात कबूल कराने के लिए उसे लोहे के गरम रॉड से भी दागा गया। जख्मी महिला गांव में ही बेसुध पड़ी है और सूचना पाकर कालूबथान ओपी के एएसआइ नहाल ¨सह मौके पर पहुंचे। पुलिस को देख लोगों ने गांव में ही बैठक कर मामले की सुलह करने की बात कही। महिला के साथ जुल्म करने वालों के खिलाफ कार्रवाई के लिए पुलिस को लिखित शिकायत का इंतजार है।
झाड़-फूंक देख रही थी तो डायन करार दिया :
घटना के बारे में पीड़िता के भाइयों ने बताया कि 22 मई की रात्रि 11 बजे गांव के विशेश्वर सोरेन के पुत्र विरबालक सोरेन जो लंबी बीमारी से पीड़ित है। उसे ठीक करने के लिए केथारडीह के एक ओझा को बुलाकर विशेश्वर के घर में झाड़ फूंक कराया गया। इसी क्रम में उनकी बहन जो मानसिक बीमारी से पीड़ित है, वो विशेश्वर के दरवाजे में झांक रही थी। तब ओझा द्वारा उसे ही डायन करार दे दिया गया। ओझा की बात पर बहन को गांव के कई लोगों ने धर दबोचा तथा बेरहमी से पिटाई कर दी। साथ ही उसे डायन कबूलने के लिए गरम रॉड से दाग दिया। मंगलवार से गुरुवार तक उसे उसी हालत में रखा गया। वहीं गुरुवार को उसकेमाता- पिता सूचना पाकर नर¨सहडीह पहुंचे तब गांव के लोगों ने बहन को उनके हवाले करते हुए अपने घर ले जाने की बात कही। लेकिन बुरी तरह पिटाई से जख्मी बेटी की हालत देखकर मां पिताजी भी साथ नहीं ले गए। बताया कि उनके जीजा की मौत हो जाने के बाद बहन का मानसिक संतुलन बिगड़ गया तथा वह यहां वहां भटकती रहती है। उसका एक पांच वर्षीय पुत्री है जो नाना-नानी के पास रहती है। शनिवार को केथारडीह तथा नर¨सहडीह के ग्रामीणों तथा पंचायत प्रतिनिधियों का बैठक कर मामला सलटाने को ले गांव में बैठक की गई लेकिन देर रात तक किसी नतीजे पर सहमति नहीं बन पाई। इस संबंध में ओपी प्रभारी सच्चिदानंद साहू ने बताया कि पीड़िता के पक्ष से लिखित आवेदन नहीं दिया गया है। आवेदन मिलने पर ओझा को बख्शा नहीं जाएगा।
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